भारतीय मूल के अमेरिकी बिजनेसमैन ने ₹8 हजार करोड़ ठगे, फार्मा कंपनियों से विज्ञापन का झूठा वादा किया, जानिए पूरा मामला

भारतीय मूल के अमेरिकी बिजनेसमैन ऋषि शाह को धोखाधड़ी और ठगी के आरोप में अमेरिकी कोर्ट से साढ़े सात साल जेल की सजा सुनाई है। शाह ने गूगल और गोल्डमैन ग्रुप जैसी बड़ी कंपनियों के इन्वेस्टर्स से 8.35 हजार करोड़ ठगे हैं। यह अमेरिका के कॉर्पोरेट इतिहास में अब तक के सबसे बड़े फ्रॉड्स में से एक है। ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के मुताबिक, 38 साल के शाह ने 2006 में आउटकम हेल्थ नाम की कंपनी का गठन किया था। यह कंपनी डॉक्टरों के ऑफिस में टेलीविजन लगाकर हेल्थकेयर के क्षेत्र में काम करने वालों के लिए विज्ञापन देने का काम करती थी। इस कंपनी में श्रद्धा अग्रवाल ऋषि की को-फाउंडर थीं।

वहीं, कंपनी के आंकड़ों के मुताबिक, उन्हें इस व्यापार में तेजी से मुनाफा हुआ। 2010 तक आउटकम हेल्थ कंपनी इस क्षेत्र में एक बड़ा नाम बनकर उभरने लगी। अपने शुरुआती सालों में कंपनी ने कई बड़े क्लाइंट्स से फंड्स लिए। इससे ऋषि शाह शिकागो की कॉर्पोरेट दुनिया के बड़े नामों में आ गए। हालांकि, जहां एक तरफ कंपनी के आंकड़ों में उन्हें तेजी से मुनाफा हो रहा था, वहीं दूसरी तरफ ऋषि, श्रद्धा और कंपनी के चीफ फाइनेंस ऑफिसर ब्रैड पर्डी अपने निवेशकों और क्लाइंट्स को ठगने की योजना बना रहे थे। इसके लिए तीनों लोगों ने मिलकर मेडिकल के क्षेत्र में काम कर रहीं अलग-अलग कंपनियों से पैसा लेकर टीवी पर विज्ञापन नहीं दिया। इसके अलावा उन्होंने अपनी कंपनी को हो रहे फायदे को लेकर भी झूठे दावे किए। शाह ने अमेरिका की बड़ी फार्मा कंपनी जैसे नोवो नॉर्डिस्क के साथ भी ठगी की। क्लाइंट्स और निवेशकों की तरफ से लगातार आ रहे पैसों के बीच ऋषि अपनी जिंदगी आराम से बिता रहा था। ब्लूमबर्ग की रिपोर्ट के मुताबिक, वह अक्सर फॉरेन ट्रिप पर जाता था, उसके पास प्राइवेट जेट और याख्ट भी थी। इसके अलावा उसने 83 करोड़ का बंगला भी खरीदा।